« सोचना चाहिए था तुमको तो, ये पिछले ही जनम में | प्रतीक्षारत » |
मेरा प्यार तू ही तो है …!(गीत)
Hindi Poetry |
यह मेरे इक कोंकणी गीत ( माका तुजो मोग आसा) के हिंदी में अनुवाद का प्रयास है और कोंकणी गीत की तर्ज़ में ही गाया हुआ इसका पॉडकास्ट प्रस्तुत है…
मेरा प्यार तू ही तो है …!(गीत)
मेरा प्यार तू ही तो है , तू जाने नहीं,
मेरे दिल में बसी है तू, तू जाने नहीं ……
युवतियां यहाँ तो सब सुन्दर,
भाये तू ही क्यूँ मेरे दिल को मगर
तेरा ख्याल मुझे दिन रात है क्यूँ,
मैं जानूँ नहीं, मैं जानूँ नहीं …..
मेरा प्यार तू ही तो है …..
जब जब तू दिखे सामने मेरे,
धड़कन बढ़ जाती दिल की मेरे,
कैसे कोई बात करूँ तुझसे,
मैं जानूँ नहीं, कुछ जानूँ नहीं …..
मेरा प्यार तू ही तो है …..
कभी तो तुझको मालूम ये हो
मेरे प्यार का कुछ इजहार भी हो
इसी कारण गाया गीत सनम,
तूने जाना नहीं, तू जाने नहीं …..
मेरा प्यार तू ही तो है ….
मेरा प्यार तू ही तो है , तू जाने नहीं,
मेरे दिल में बसी है तू, तू जाने नहीं ……
” विश्व नन्द ”
एक सुंदर प्रेम गीत – बस प्रथम पंक्ति बुरा न मानें या तो मेरा प्यार तुम ही तो हो, तू जाने नहीं, की जगह मेरा प्यार तुम ही तो हो, तुम जानो नहीं, या मेरा प्यार तूं ही तो हो,पर तू जाने नहीं, ये मेरा विचार मात्र है-बाकी रचना में बसी प्रेम की महक पर इसका कोई असर नहीं होता- बधाई
@sushil sarna
आपके कमेन्ट का हार्दिक स्वागत और शुक्रिया. आपने सही सुझाया और मैंने रचना सुधार दी है . कोंकणी गीत में भी ठीक ऐसा ही है. कोंकणी में हम “तू” ” तुझे’ ही का प्रयोग करते हैं….
@Vishvnand,
मेरे सुझाव को मान दिया, शुक्रिया
“प्यार का प्यारा भरा ये गीत है
दिल की गहराइयों में बस गया ,वो मीत है
हर वक़्त मेरा साथ दे ,तू वो प्रीत है
तेरी धुन और मेरा सुर,प्रेम का संगीत है.”
———– जब तक रहूँ मैं जिन्दा ,तुझे याद यूँ करता रहूँ
जियूं तेरे संग संग और याद मैं मरता रहूँ
@c k goswami
बहुत मनभावन काव्यरूपी प्रतिसाद,
इस पर अब मैं और क्या कहूँ ….
शुक्रिया ….
सुन्दर गीत. काश वो ये हकीकत जानते होते.
@Raj
कमेन्ट के लिए बहुत शुक्रिया. ये बात उन्हें समझाने ही की तो ये सारी सर्कस है